uttar pradesh paryatan mantri: उत्तर प्रदेश भारत का सबसे बड़ा राज्य है, जो न केवल जनसंख्या के लिहाज से बल्कि सांस्कृतिक, धार्मिक और ऐतिहासिक विविधताओं के लिए भी जाना जाता है। यहां अयोध्या, वाराणसी, वृंदावन, प्रयागराज जैसे स्थल दुनियाभर के पर्यटकों को आकर्षित करते हैं। ऐसे में राज्य के पर्यटन क्षेत्र की जिम्मेदारी बेहद महत्वपूर्ण हो जाती है।
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उत्तर प्रदेश के वर्तमान पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री श्री जयवीर सिंह हैं। उन्होंने 25 मार्च 2022 को कैबिनेट मंत्री के रूप में शपथ ली थी और वर्तमान में योगी आदित्यनाथ की सरकार में पर्यटन विभाग की जिम्मेदारी निभा रहे हैं। वह भारतीय जनता पार्टी (BJP) से जुड़े हुए हैं और मैनपुरी सदर विधानसभा क्षेत्र का प्रतिनिधित्व करते हैं । जयवीर सिंह ने पर्यटन क्षेत्र के विकास के लिए कई महत्वपूर्ण कदम उठाए हैं। उन्होंने राज्य के प्रमुख पर्यटन सर्किटों की सड़कों के किनारे ढाबे, फूड कोर्ट और मोटल जैसी सुविधाओं के निर्माण के लिए सरकार को प्रोत्साहित किया है, ताकि पर्यटकों को बेहतर अनुभव मिल सके । इसके अलावा, उन्होंने राही पर्यटक आवास गृहों को पब्लिक-प्राइवेट पार्टनरशिप (PPP) मोड पर संचालित करने के लिए समझौते किए हैं, जिससे इन सुविधाओं की गुणवत्ता में सुधार और पर्यटकों के लिए बेहतर सेवाएं सुनिश्चित हो सकें ।
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उत्तर प्रदेश पर्यटन विभाग का आधिकारिक पोर्टल है: https://uptourism.gov.in/hi
यह पोर्टल उत्तर प्रदेश सरकार के पर्यटन एवं संस्कृति विभाग द्वारा संचालित है, जिसका नेतृत्व श्री जयवीर सिंह, माननीय कैबिनेट मंत्री, पर्यटन एवं संस्कृति विभाग, उत्तर प्रदेश कर रहे हैं।
2.1. पोर्टल की प्रमुख विशेषताएँ:
- पर्यटन सर्किट्स: राज्य के विभिन्न पर्यटन सर्किट्स जैसे रामायण, सूफी-कबीर, बुंदेलखंड, जैन, कृष्ण-ब्रज, शक्ति पीठ, महाभारत, वन्यजीव और इको टूरिज्म, स्वतंत्रता संग्राम, आध्यात्मिक, बौद्ध, और शिल्प सर्किट्स की जानकारी।
- जिलेवार जानकारी: राज्य के प्रत्येक जिले की पर्यटन संबंधित जानकारी, जैसे प्रमुख स्थल, मौसम, भाषा, और स्थानीय परिवहन के बारे में विवरण।
- निवेश और नीतियाँ: पर्यटन क्षेत्र में निवेश के अवसर और राज्य की पर्यटन नीतियों की जानकारी।
- योजना और कार्यक्रम: मुख्यमंत्री पर्यटन फैलोशिप प्रोग्राम, होटल और रिसॉर्ट्स के लिए स्टार क्लासिफिकेशन, और कारवां टूरिज्म जैसी योजनाओं की जानकारी।
- इंटरएक्टिव टूल्स: इलेक्ट्रॉनिक ब्रोशर, पर्यटन सर्वे फिल्म, और उत्तर प्रदेश ट्रैवल मार्ट 2024 जैसी सुविधाएँ।
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उत्तर प्रदेश पर्यटन मंत्री श्री जयवीर सिंह के नेतृत्व में राज्य सरकार ने पर्यटन क्षेत्र के विकास के लिए कई महत्वपूर्ण पहल की हैं। इन पहलों के तहत, उत्तर प्रदेश सरकार ने एक आधिकारिक ऑनलाइन पोर्टल की शुरुआत की है, जिसका उद्देश्य राज्य के पर्यटन को बढ़ावा देना और निवेशकों तथा पर्यटकों को सुविधाएं प्रदान करना है।
आधिकारिक पोर्टल: uptourismportal.in
यह पोर्टल उत्तर प्रदेश सरकार के पर्यटन विभाग द्वारा संचालित है और इसमें विभिन्न ऑनलाइन सेवाएं उपलब्ध हैं, जैसे:
- पर्यटन नीति 2022 के तहत पंजीकरण: निवेशकों के लिए पर्यटन नीति 2022 के तहत पंजीकरण की सुविधा।
- टूर और ट्रैवल ऑपरेटरों का पंजीकरण: टूर और ट्रैवल ऑपरेटरों के लिए पंजीकरण और मान्यता प्राप्त करने की प्रक्रिया।
- इन्फ्रास्ट्रक्चर स्कीम प्रबंधन मॉड्यूल: पर्यटन विभाग की इन्फ्रास्ट्रक्चर योजनाओं की वित्तीय और भौतिक प्रगति की निगरानी के लिए मॉड्यूल।
- सब्सिडी प्रबंधन मॉड्यूल: पर्यटन नीति 2022 के तहत पूंजी निवेश और ब्याज सब्सिडी के लिए आवेदन की प्रक्रिया।
- संस्कृति, संगीत, शिल्प, और व्यंजन के पुनरुद्धार के लिए प्रोत्साहन: संस्कृति, संगीत, शिल्प, और व्यंजन के पुनरुद्धार के लिए प्रोत्साहन की जानकारी।
3.1. पर्यटन विभाग की आधिकारिक वेबसाइट: uptourism.gov.in
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उत्तर प्रदेश के पर्यटन मंत्री श्री जयवीर सिंह ने राज्य में पर्यटन क्षेत्र के विकास के लिए कई महत्वपूर्ण योजनाओं की शुरुआत की है। इन योजनाओं का उद्देश्य न केवल राज्य के पर्यटन स्थलों को बढ़ावा देना है, बल्कि स्थानीय समुदायों को रोजगार के अवसर प्रदान करना और राज्य की सांस्कृतिक धरोहर को संरक्षित करना भी है।
4.1. मुख्यमंत्री पर्यटन फेलोशिप कार्यक्रम
पर्यटन मंत्री ने मुख्यमंत्री पर्यटन फेलोशिप कार्यक्रम की शुरुआत की है, जिसके तहत योग्य युवाओं को पर्यटन विभाग में एक वर्ष की अवधि के लिए शोध कार्य करने का अवसर मिलेगा। इस कार्यक्रम का उद्देश्य पर्यटन योजनाओं का मूल्यांकन, संरचना, मेले-महोत्सवों की रूपरेखा तैयार करना और पर्यटन क्षेत्र के अंतर्गत राजस्व वृद्धि के लिए सुझाव देना है।
4.2. पर्यटन नीति-2022 के तहत निवेशकों के लिए प्रोत्साहन
पर्यटन मंत्री ने पर्यटन नीति-2022 के तहत निवेशकों को आकर्षक प्रोत्साहन प्रदान करने की घोषणा की है। इस नीति के अंतर्गत, होटल, रिसॉर्ट, वे साइड एमिनिटीज़ आदि में निवेश करने वाले उद्यमियों को विभिन्न वित्तीय प्रोत्साहन, लाभ, छूट और अनुदान प्रदान किए जाएंगे।
मुख्य प्रोत्साहन:
पंजीकरण शुल्क में छूट: जमीन खरीदने पर रजिस्ट्री शुल्क और स्टांप ड्यूटी में छूट
निर्माण पर सब्सिडी: इकाइयों के निर्माण पर 25 से 30 प्रतिशत की सब्सिडी
उपकरणों पर सब्सिडी: ओपन रेस्टोरेंट, फैमिली रेस्टोरेंट, एसी रूम, शौचालय, बच्चों के लिए प्ले एरिया, आरओ सिस्टम, माड्यूलर किचन, फ्रीजर, सोलर लाइट आदि पर सब्सिडी
4.3. पर्यटन सर्किटों के किनारे सुविधाओं का विकास
पर्यटन मंत्री ने राज्य के सभी 12 प्रमुख पर्यटन सर्किटों की मुख्य सड़कों के किनारे ढाबे, मोटल, फूड कोर्ट आदि विकसित करने की योजना बनाई है। इस पहल का उद्देश्य पर्यटकों को बेहतर सुविधाएं प्रदान करना और यात्रा को अधिक सुखद बनाना है।
4.4. देखो अपना देश’ महाभियान
पर्यटन मंत्री ने ‘देखो अपना देश’ महाभियान की शुरुआत की है, जिसके तहत आम लोग अपने पसंदीदा पर्यटन स्थलों की जानकारी देंगे। इस अभियान के तहत, प्रदेश के प्रमुख स्थलों पर सेल्फी प्वाइंट बनाए जाएंगे, और लोग अपनी फोटो, रील्स आदि ऑनलाइन पोर्टल पर अपलोड कर सकेंगे।
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उत्तर प्रदेश के पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री श्री जयवीर सिंह ने राज्य के बुजुर्ग कवियों, कलाकारों और साहित्यकारों के लिए एक नई पेंशन योजना की घोषणा की है। इस योजना का उद्देश्य उन व्यक्तियों को सम्मान और आर्थिक सहायता प्रदान करना है जिन्होंने अपनी कला और साहित्य के माध्यम से राज्य की सांस्कृतिक धरोहर को समृद्ध किया है।
योजना का उद्देश्य
उत्तर प्रदेश संस्कृत विभाग द्वारा शुरू की जा रही इस पेंशन योजना का मुख्य उद्देश्य उन बुजुर्ग कवियों, कलाकारों और साहित्यकारों को पेंशन प्रदान करना है जिन्होंने अपनी रचनाओं और कला के माध्यम से समाज और संस्कृति की सेवा की है। इस पहल से इन व्यक्तियों को सम्मान मिलेगा और उनके जीवन स्तर में सुधार होगा।
पेंशन राशि और पात्रता
योजना के तहत, 60 वर्ष और उससे अधिक आयु के पात्र कवियों, कलाकारों और साहित्यकारों को मासिक पेंशन प्रदान की जाएगी। सरकार ने प्रारंभिक रूप से ₹2,000 मासिक पेंशन देने का प्रस्ताव रखा है, हालांकि विभाग जल्द ही विस्तृत गाइडलाइन जारी करेगा जिसमें पात्रता मानदंड और आवेदन प्रक्रिया की जानकारी होगी।
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6.1. पर्यटन आवास गृहों का निजीकरण
उत्तर प्रदेश सरकार ने राज्य के पर्यटन विकास निगम (UPSTDC) द्वारा संचालित पर्यटक आवास गृहों (टूरिस्ट बंग्लों) के संचालन को निजी क्षेत्र के उद्यमियों को सौंपने का निर्णय लिया है। इन होटलों का संचालन संविदा के आधार पर 15 वर्षों के लिए किया जाएगा, जिसे आपसी सहमति से अगले 15 वर्षों के लिए बढ़ाया जा सकता है। इस पहल का उद्देश्य पर्यटकों को बेहतर आवासीय और खानपान सेवाएं प्रदान करना है। निजी क्षेत्र के उद्यमियों द्वारा इन इकाइयों के संचालन से रोजगार के नए अवसर सृजित होंगे और पर्यटन क्षेत्र में गुणवत्ता में सुधार होगा।
6.2. ग्रामीण पर्यटन और होम स्टे योजना
पर्यटन मंत्री ने राज्य के प्रमुख पर्यटन स्थलों के समीप ग्रामीण पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए होम स्टे योजना की शुरुआत की है। इस योजना के तहत, 93 गांवों में होम स्टे का विकास किया जा रहा है, जिससे स्थानीय समुदायों को आर्थिक लाभ होगा और पर्यटकों को स्थानीय संस्कृति और जीवनशैली का अनुभव मिलेगा। ग्रामीण पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए पर्यटन विभाग ने विस्तृत कार्ययोजना तैयार की है, जिसमें प्रमुख टूरिस्ट सर्किट में ट्रेनिंग कार्यक्रमों का आयोजन भी शामिल है।
6.3. पर्यटन सर्किटों के किनारे सुविधाओं का विकास
पर्यटन मंत्री ने राज्य के सभी 12 प्रमुख पर्यटन सर्किटों की प्रमुख सड़कों के किनारे ढाबे, मोटल, फूड कोर्ट आदि विकसित करने की योजना बनाई है। इस पहल का उद्देश्य पर्यटकों को बेहतर सुविधाएं प्रदान करना और यात्रा को अधिक सुखद बनाना है। पर्यटन नीति-2022 के तहत, इन सुविधाओं के निर्माण पर 25 से 30 प्रतिशत तक की सब्सिडी दी जाएगी, और जमीन खरीदने पर रजिस्ट्री शुल्क और स्टांप ड्यूटी में छूट प्रदान की जाएगी|
6.4. प्रधानमंत्री आवास योजना (PMAY)
प्रधानमंत्री आवास योजना (PMAY) के तहत, उत्तर प्रदेश सरकार ने शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में गरीबों को आवास प्रदान करने की योजना बनाई है। इस योजना के तहत, पात्र लाभार्थियों को मकान निर्माण के लिए वित्तीय सहायता प्रदान की जाती है। योजना के तहत आवेदन करने के लिए, उम्मीदवारों को ऑनलाइन पोर्टल पर पंजीकरण करना होता है और आवश्यक दस्तावेज़ प्रस्तुत करने होते हैं।
7. uttar pradesh paryatan mantri के 7 दमदार फैसले जो चौंकाते हैं
उत्तर प्रदेश के वर्तमान पर्यटन मंत्री श्री जयवीर सिंह ने इस जिम्मेदारी को बखूबी निभाते हुए कुछ ऐसे फैसले लिए हैं जो न केवल साहसिक हैं, बल्कि पर्यटन के भविष्य को एक नई दिशा देने वाले भी हैं। आइए जानते हैं uttar pradesh paryatan mantri के 7 दमदार फैसले जो सच में चौंकाते हैं और सराहनीय भी हैं।
1. पर्यटन सर्किट्स का वैज्ञानिक विकास
उत्तर प्रदेश के पर्यटन मंत्री ने राज्य को विभिन्न थीम पर आधारित 15 से अधिक पर्यटन सर्किट्स में बांटने की योजना को अमलीजामा पहनाया है। इसमें रामायण सर्किट, कृष्ण सर्किट, बौद्ध सर्किट, सूफी-कबीर सर्किट, स्वतंत्रता संग्राम सर्किट, बुंदेलखंड सर्किट, और जैन सर्किट जैसे प्रमुख सर्किट शामिल हैं।
इन सर्किट्स के तहत राज्य के प्रमुख धार्मिक और ऐतिहासिक स्थलों को एक-दूसरे से जोड़ते हुए सड़क, परिवहन, और आवास सुविधाओं का तेजी से विकास किया गया है।
यह क्यों चौंकाता है?
पहली बार किसी मंत्री ने पर्यटन को धार्मिक, ऐतिहासिक और सांस्कृतिक विषयों के आधार पर इतने सुव्यवस्थित रूप में प्रस्तुत किया है।
2. राही टूरिस्ट बंगलों को PPP मोड में देना
uttar pradesh paryatan mantri का एक और बड़ा और साहसिक फैसला था — राज्य के राही टूरिस्ट बंगलों को पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप (PPP) मोड में देना। इन बंगलों को निजी कंपनियों के माध्यम से बेहतर सेवाएं और आधुनिक सुविधाएं देने के लिए खोला गया है।
यह क्यों चौंकाता है?
सरकारी संपत्तियों का निजी क्षेत्र के साथ तालमेल से बेहतर संचालन और रखरखाव की दिशा में यह एक नया प्रयोग है जो राजस्व बढ़ाने और पर्यटकों को गुणवत्ता सेवा देने में सहायक है।
3. ढाबों, मोटल्स और फूड कोर्ट्स का निर्माण
जयवीर सिंह ने यह समझा कि केवल दर्शनीय स्थल ही काफी नहीं, सड़क मार्गों पर सुविधाएं भी उतनी ही जरूरी हैं। इसलिए उन्होंने पर्यटन सर्किटों की मुख्य सड़कों पर ढाबों, मोटल्स और फूड कोर्ट्स के निर्माण की पहल की। इससे यात्रा के दौरान पर्यटकों को बेहतर विश्राम और खानपान की सुविधा मिलेगी।
यह क्यों चौंकाता है?
कई राज्यों में यह सुविधा पहले से थी, लेकिन उत्तर प्रदेश में इसे सुव्यवस्थित और पर्यटक केंद्रित ढंग से लागू करना एक उल्लेखनीय पहल है।
4. मुख्यमंत्री पर्यटन फैलोशिप कार्यक्रम
पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए युवा शक्ति को जोड़ने का अभिनव प्रयास किया गया है – मुख्यमंत्री पर्यटन फैलोशिप कार्यक्रम। इसके तहत युवाओं को राज्य के विभिन्न पर्यटन स्थलों पर काम करने, शोध करने और रिपोर्ट प्रस्तुत करने का अवसर मिलता है।
यह क्यों चौंकाता है?
पहली बार पर्यटन क्षेत्र में युवाओं की भागीदारी को प्रोफेशनल ढंग से प्रोत्साहित किया गया है। इससे न केवल युवाओं को अनुभव मिलेगा, बल्कि नए दृष्टिकोण भी सामने आएंगे।
5. पर्यटन पुलिस की तैनाती और प्रशिक्षण
पर्यटकों की सुरक्षा और सहयोग के लिए पर्यटन मंत्री ने पर्यटन पुलिस यूनिट्स की तैनाती का प्रस्ताव रखा है। इन विशेष पुलिस बलों को पर्यटकों से व्यवहार, भाषा, और स्थानीय जानकारी के लिए प्रशिक्षित किया जा रहा है, ताकि वे यात्रा को अधिक सहज और सुरक्षित बना सकें।
यह क्यों चौंकाता है?
भारत में बहुत कम राज्यों ने अब तक पर्यटन पुलिस को गंभीरता से लिया है। यूपी का यह कदम पर्यटकों के विश्वास को मज़बूत करता है।
6. इको टूरिज्म और वाइल्डलाइफ टूरिज्म को बढ़ावा

उत्तर प्रदेश में केवल धार्मिक पर्यटन ही नहीं, बल्कि प्राकृतिक पर्यटन की भी अपार संभावनाएं हैं। मंत्री जी ने दुधवा नेशनल पार्क, कतर्नियाघाट, चंद्रप्रभा वन्यजीव विहार जैसे स्थलों को विकसित करने की योजनाएं तेज़ की हैं।
यह क्यों चौंकाता है?
राज्य में वाइल्डलाइफ टूरिज्म को बढ़ावा देने पर इससे पहले इतना ध्यान नहीं दिया गया था। यह न केवल पर्यावरण संरक्षण को बढ़ावा देगा बल्कि रोजगार भी उत्पन्न करेगा।
7. हर पर्यटक को ‘देवतुल्य’ मानने की नीति
श्री जयवीर सिंह का मानना है कि “हर पर्यटक देवतुल्य है”, और उसी भाव से उसका स्वागत किया जाना चाहिए। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिया है कि स्कूलों में पर्यटन जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किए जाएं, और स्थानीय लोगों को पर्यटकों के साथ शालीन व्यवहार के लिए प्रेरित किया जाए।
यह क्यों चौंकाता है?
यह सिर्फ एक नीतिगत फैसला नहीं, बल्कि राज्य के आतिथ्य के दृष्टिकोण को बदलने का प्रयास है — जिसमें पर्यटक को केवल आगंतुक नहीं, बल्कि सम्मानित अतिथि माना जाता है।
निष्कर्ष
uttar pradesh paryatan mantri श्री जयवीर सिंह ने जिन फैसलों को लागू किया है, वे ना केवल क्रांतिकारी हैं, बल्कि राज्य की छवि को वैश्विक पर्यटन मानचित्र पर मजबूत करने वाले भी हैं। उत्तर प्रदेश जैसे विविधताओं से भरे राज्य में पर्यटन के माध्यम से न केवल आर्थिक विकास, बल्कि सांस्कृतिक पुनर्जीवन और सामाजिक बदलाव की संभावनाएं खुलती हैं।
अगर इन फैसलों को पूरी तरह क्रियान्वित किया जाए तो उत्तर प्रदेश आने वाले वर्षों में भारत का सबसे प्रमुख पर्यटन राज्य बन सकता है।
FAQ
क्या जयवीर सिंह के किसी फैसले ने पर्यटन को किसी विशेष क्षेत्र में बढ़ावा दिया?
uttar pradesh paryatan mantri: हाँ, जयवीर सिंह के फैसलों ने उत्तर प्रदेश के कई विशेष क्षेत्रों में पर्यटन को उल्लेखनीय रूप से बढ़ावा दिया है। कुछ प्रमुख उदाहरण:
1. ग्रामीण पर्यटन को बढ़ावा: जयवीर सिंह ने राज्य के 234 गाँवों को ‘पर्यटक ग्राम’ के रूप में विकसित करने की महत्वाकांक्षी योजना शुरू की। इसमें प्रयागराज का श्रृंगवेरपुर, मथुरा का जैत, आगरा का कछपुरा, और मैनपुरी का भावंत गाँव शामिल हैं। इन गाँवों में होम स्टे, फार्म स्टे, स्थानीय भोजन, हस्तशिल्प, और सांस्कृतिक गतिविधियों की सुविधाएँ विकसित की गई हैं, जिससे ग्रामीण क्षेत्रों में पर्यटन और स्थानीय आजीविका दोनों को बढ़ावा मिला है |
2. धार्मिक और ऐतिहासिक स्थलों का विकास: काशी, अयोध्या, मथुरा, नैमिषारण्य, कुशीनगर, चित्रकूट, बटेश्वर जैसे धार्मिक और ऐतिहासिक स्थलों को विश्वस्तरीय पर्यटन केंद्र के रूप में विकसित किया गया है।
3. फर्रुखाबाद और संकिसा क्षेत्र का कायाकल्प: फर्रुखाबाद जिले के संकिसा जैसे ऐतिहासिक और धार्मिक महत्व के स्थलों का कायाकल्प किया गया है। इसके साथ ही जिले को दो प्रमुख एक्सप्रेसवे से जोड़ने की रणनीति ने क्षेत्रीय पर्यटन को नई दिशा दी है |